यूरोपीय फुटबाल चैंपियनशिप – गोल के जादू का चमत्कारी महोत्सव

यूरोपीय फुटबाल चैंपियनशिप अगर देखा जाये तो फुटबाल मैच से अधिक यूरो अर्जित करने की रणनीति का राजनितिक खेल हो कर रह गया है। यूरो कप, यूरोपियन संघ के देशों के बीच में, हर चार वर्षों में खेली जाने वाली पुरुषों की फुटबाल प्रतियोगिता है। यूरो २०१६, १५ वीं यूईएफए यूरोपीय चैम्पियनशिप थी और इसका आयोजन १० जून २०१६ से १० जुलाई २०१६ के बीच में फ्रांस में सम्पन्न हुआ। २०१४ फुटबाल विश्व कप में नीदरलैंड्स के अच्छे प्रदर्शन के बाद, सभी फैन्स को उम्मीद थी कि यूरो कप इस बार उनका अपना हो सकता है। किन्तु नीदरलैंड्स २०१५ में हुए क्वालीफाइंग राउंड में चेक गणतंत्र से ३-२ से परास्त हुआ। इस मुकाबले की रोचक बात ये रही कि, जिस एक गोल के अंतर से नीदरलैंड्स हारा, वो नीदरलैंड्स के खिलाड़ी रॉबिन वैन पेर्सिए ने खुद अपने गोल में दागा था। इस मुकाबले के बाद नीदरलैंड्स फुटबाल प्रेमियों का दिल टुकड़े टुकड़े हो गया।

नीदरलैंड्स के ना खेलने से यूरो २०१६ में उसके फैंस के लिए कुछ बचा नहीं था। पर फुटबाल प्रेम तो अभी भी था दिल में। अब प्रतियोगिता शुरू होने के साथ सभी अपनी अपनी दूसरी पस्संदीदा टीमों को प्रोत्साहित करने लगे। स्पेन दो बार का गत चैम्पियन था, 2008 और 2012 का यूरो कप जीत चुका था अतः इस बार भी उससे उम्मीदें थीं। किन्तु वह १६ के दौर में इटली से हार कर बाहर हो गया। अब बची टीमों में से, मेज़बान होने के नाते फ्रांस, २०१४ विश्व कप विजेता होने के नाते जर्मनी और टीम में क्रिस्टियानो रोनाल्डो के होने के नाते से पुर्तगाल, पसंदीदा टीम थी। सेमीफाइनल में फ्रांस ने जर्मनी को २-० से हरा कर शानदार खेल का प्रदर्शन किया जो गत बार ब्राजील में विश्व कप का विजेता होकर अपने देश लौटा था। और पुर्तगाल ने अच्छा खेलते हुए वेल्स को २-० से हरा कर फाइनल में जगह पक्की की।

अब मुकाबला था मेजबान फ्रांस में और अब तक औसत दरजे का खेल खेली पुर्तगाल के बीच। मुकाबला था फुटबाल के दो माहिर खिलाड़ी, एंटोनी ग्रिज़मान्न एवं क्रिस्टियानो रोनाल्डो के बीच में। सैन्ट-डेनिस, पेरिस का फुटबाल मैदान लगभग ७५००० दर्शकों से खचा-खच भरा हुआ था। खेल शुरू हुआ, और फ्रांस ने शुरू से ही पुर्तगाल पर दबाव बनाया। ऐसा प्रतीत हो रहा था जैसे फ्रांस आसानी से यह मैच जीत ले जायेगा। पुर्तगाल के फैंस रोनाल्डो से चमत्कार की उम्मीद लगाए बैठे थे। अभी खेल की पहली पारी आधी ही बीती थी कि, रोनाल्डो को पैर में चोट लगने के कारण मैंदान से बाहर हो जाना पड़ा।
जिससे पुर्तगाल के फुटबाल के दीवाने फैंस अत्यंत निराश हो गए। रोनाल्डो के बाहर जाने के बाद पुर्तगाल के बाकि सभी खिलाड़ियों ने अपना पूरा दम लगा दिया। खेल की पहली और दूसरी पारी में किसी भी दल को कोई सफलता नहीं मिली। फ्रांस ने कुछ अच्छे पैंतरे दिखाए और गोल करने के बहुत समीप होने के बावज़ूद गोल नहीं कर पाया। ९० मिनट के निर्धारित खेल समय में कोई गोल नहीं हुआ और खेल के निर्णय के लिए ३० मिनट अतिरिक्त समय दिया गया। जिसके पहले हिस्से में भी कोई गोल नहीं हुआ। अब सबको लग रहा था कि खेल का निर्णय पेनाल्टी शूटआउट से ही हो सकेगा। लेकिन खेल के १०९ वें मिनट में पुर्तगाल के एदेरजीतो अंटोनिओ (Éderzito António) ने वह कर दिखाया जिसकी कल्पना फ्रांस के किसी भी चहेते ने ना की होगी। एदेरजीतो अंटोनिओ को यूरो कप में सिर्फ ३ मैचों में बतौर स्थानापन्न खेलने का मौका मिला। और फाइनल में उन्होंने अतिरिक्त समय में गोल कर के फ्रांस के सपने को चूर चूर कर दिया।

 

इस तरह से एक बहुत ही रोमांचक और भावनाओं से भरपूर यूरो कप फुटबाल का अंतिम मैच समाप्त हुआ।

इस फुटबाल महोत्सव ने विभिन्न समस्याओं से जूझती यूरोप की जनता को सब कुछ भूल कर एक महीने के लिए फुटबाल में डूब जाने और आनंद मनाने का एक अवसर प्रदान किया।

कभी हारना और कभी जीतना , मेहनत करना , कभी हिम्मत न हारना , हरदम सीखते रहना यही तो इस जीवन का एक सुन्दर सच है। सच ही है खेल ही जीवन है और जीवन एक खेल है।

 

- अमित सिंह 

फ्रांस की कंपनी बेईसिप-फ्रंलेब के कुवैत ऑफिस में में सीनियर पेट्रोलियम जियोलॉजिस्ट के पद पे कार्यरत हैं।

हिंदी लेखन में रूचि रहने वाले अमित कुवैत में रहते हुए अपनी भाषा से जुड़े रहने और भारत के बाहर उसके प्रसार में तत्पर हैं।

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