BrEXIT (ब्रिटेन exits यूरोपीय संघ)

 यूरोपीय संघ – अक्सर EU के रूप में जाना जाता है – यह एक आर्थिक और राजनीतिक भागीदारी है जिसमे २८  यूरोपीय देश शामिल है। इसकी शुरुआत दूसरे विश्व युद्ध के बाद हुई है। इसका उद्देश्य आर्थिक सहयोग को बढ़ावा देने के लिए किया गया था। एक और विचार यह भी है कि, जो देश एक साथ व्यापार करते हैं, उनकी आपस में युद्ध की संभावना कम होती है। यूरोपीय संघ के चलते पूरा यूरोप “एक बाजार” बन गया है। इसके तहत व्यापर का माल और लोगों बिना रोक टोक किसी भी भागीदार देश में आ और जा  सकते हैं। यूरोपीय संघ की अपनी मुद्रा है , “यूरो”, जो १९  सदस्य देशों में प्रयोग की जाती  है। यूरोपीय संघ की अपनी संसद है, पर्यावरण, परिवहन , उपभोक्ता अत्यादि क्षत्रों में अपने नियम हैं जिसका सदस्य देशों को पालन करना होता है।

 

गुरुवार को २३ जून को एक एक जनमत संग्रह आयोजित किया गया था, जिसके तहत वो सभी लोग जो मतदान की निम्नतम उम्र पार कर चुकें हैं, उन्होंने ये तय करने के लिए मत डाला कि, ब्रिटेन को यूरोपीय संघ में रहना चाहिए या नहीं। जनमत संग्रह में लगभग ७१.८ % लोगों ने भाग लिया। ब्रिटेन के १९९२ के आम चुनाव के बाद से अब तक सबसे अधिक मतदान इस जनमत संग्रह  हुआ है। इंग्लैंड के किस क्षेत्र से क्या मतदान हुआ वो नीचे दिए गए चित्र से साफ होता है। 

 

ब्रिटेन को यूरोपीय संघ छोड़ने के लिए, यूरोपीय संघ के साथ एक समझौता करना होगा। इस करार के बारे में अधिक जानकारी के लिए नीचे दी गई कड़ी को देखें ;

http://www.lisbon-treaty.org/wcm/the-lisbon-treaty/treaty-on-European-union-and-comments/title-6-final-provisions/137-article-50.html

 

ब्रिटेन जब तक यूरोपीय संघ से बहार नहीं हो जाता तब तक वहां, यूरोपीय संघ के कानून लागू रहेंगे, और इस प्रक्रिया में कुछ समय लग सकता है ।

ब्रिटेन यूरोपीय संघ संधियों और कानूनों का पालन करने के लिए बाध्य रहेगा, लेकिन यूरोपीय संघ के किसी भी निर्णय लेने में भाग नहीं ले सकता।

 - अम्स्टेल गंगा समाचार ब्यूरो 

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